tag:blogger.com,1999:blog-6688688933783013202.post301698688417028175..comments2023-11-26T00:30:49.569-08:00Comments on रविकर-पुंज: इंजीनियरिंग कालेज कैम्पस : बदतर हालातरविकर http://www.blogger.com/profile/00288028073010827898noreply@blogger.comBlogger7125tag:blogger.com,1999:blog-6688688933783013202.post-8373250436437274902012-04-26T09:06:28.446-07:002012-04-26T09:06:28.446-07:00मुझे तो न जाने कब अवसर मिलेगा, इन सब रचनाओं को आपक...मुझे तो न जाने कब अवसर मिलेगा, इन सब रचनाओं को आपके मुंह से तरन्नुम में सुनूं।मनोज कुमारhttps://www.blogger.com/profile/08566976083330111264noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6688688933783013202.post-85419862127405352442012-04-26T04:46:07.871-07:002012-04-26T04:46:07.871-07:00beautifully saidbeautifully saidsmhttp://realityviews.blogspot.com/noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6688688933783013202.post-35572309157668530012012-04-25T10:59:27.536-07:002012-04-25T10:59:27.536-07:00एक्जाम और एक जाम का अंतर आपने खूब समझाया .रही काम ...एक्जाम और एक जाम का अंतर आपने खूब समझाया .रही काम की बात इस दौर की हर चीज़ के केंद्र में 'काम 'है .चाहे वह नृत्य की मैथुनी मुद्राएँ हों या डिजाई नर्स साडी का कामुक भड़काऊ संस्करण .नजर का तो फेर है ही .नज़ारे भी बदल गए हैं .बालीवुड में न्यूड के लिए कई तैयार हैं .हमारा फोकस बदल रहा है .परिवर्तन की रफ्तार कप्यूटर पीढ़ियों की तरह छलांग लगाए है .<br /><br />दूसरे छोर पर आज भी कई इम्तिहानी लाल भी देखने को मिलेंगे जिस मर्जी एग्जाम में बिठला दो ९० % अंक लायेंगे .भाई साहब ये एम् एम् एस का दौर है .किस किस को रोइए ,आराम बड़ी चीज़ है मुंह ढकके सोइए .आठ घंटा सोइए .virendra sharmahttps://www.blogger.com/profile/02192395730821008281noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6688688933783013202.post-7468041669879292012012-04-25T10:00:49.461-07:002012-04-25T10:00:49.461-07:00जान कर कविता तुम्हारी जान हम देने लगे,
भाग हमरे खु...जान कर कविता तुम्हारी जान हम देने लगे,<br />भाग हमरे खुल गए हम भाग कर जाएँ कहाँ!!चला बिहारी ब्लॉगर बननेhttps://www.blogger.com/profile/05849469885059634620noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6688688933783013202.post-30653233651075368452012-04-25T09:45:20.752-07:002012-04-25T09:45:20.752-07:00दुर्भाग्य यह है अब ये संस्थान साईबोर्ग (मशीनीकृत म...दुर्भाग्य यह है अब ये संस्थान साईबोर्ग (मशीनीकृत मानव ,आधा से ज्यादा मशीन शेष होमोसैपियन) ही नीला रहें हैं .बी बी सी के उद्घोषकों की समस्वर आवाज़ से .virendra sharmahttps://www.blogger.com/profile/02192395730821008281noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6688688933783013202.post-13105092780041358252012-04-25T09:29:17.294-07:002012-04-25T09:29:17.294-07:00कल परीक्षा से डरा अब 'पर - इच्छा' का है ...कल परीक्षा से डरा अब 'पर - इच्छा' का है डर<br />'जान' से 'वर' हो गया अब हो गया हूँ 'जानवर'.अरुण कुमार निगम (mitanigoth2.blogspot.com)https://www.blogger.com/profile/11022098234559888734noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6688688933783013202.post-14418199469124765372012-04-25T05:52:36.322-07:002012-04-25T05:52:36.322-07:00सभी कोलेजों के कैम्पस में ऐसा ही अंधेर है!...खूब क...सभी कोलेजों के कैम्पस में ऐसा ही अंधेर है!...खूब कही आपने!...आभार!Aruna Kapoorhttps://www.blogger.com/profile/02372110186827074269noreply@blogger.com